उडीसा, झारखण्ड, और छत्तीसगढ़ में अधिकतर जनसंख्या आदिवासी है जो जंगलों में निवास करते है। अक्सर करके ये जनजातीय लोग बाहरी दुनिया से कुछ कटे हुए रहते है। जिससे इनके विकास या उन्नति के लिए इन्हें अवसर नहीं मिल पाते। इस बार छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा वन में रहने वाले आदिवासी लोगो के विकास व उत्थान के लिए इंदिरा वन मितान योजना शुरू की गई है। योजना के अंतर्गत सरकार लाभार्थियों को स्वरोजगार के अवसर के साथ साथ समृद्ध बनने का मौका का भी प्रदान करेगी। वन क्षेत्र में रहने वाले लोगों को खुशहाल जिन्दगी जीने का अवसर प्रदान करना भी इस योजना का मुख्य उद्देश्य है। योजना के अंतर्गत कम से कम 19 लाख परिवारों को शामिल करने का निर्णय लिया गया है। योजना की अधिक जानकारी के लिए पूरा आर्टिकल अंत तक पढें।
छत्तीसगढ़ इंदिरा वन मितान योजना
छत्तीसगढ़ इंदिरा वन मितान योजना की शुरूआत मुख्य्मंत्री भूपेशा बघेल जी के द्वारा की गई थी। योजना के लिए राज्य सरकार ने 8 करोड़ 50 लाख रूपये तक का बजट आवंटित किया है। योजना के तहत वन आधारित आर्थिक गतिविधियों का संचालन करने के लिए 10 हजार गांवों के समूह का गठन किया जायेगा और प्रत्येक समूह में 10 से 15 सदस्य शामिल होंगे। हर समूह का कार्य वृक्ष प्रबंधन, वन उपज की खरीद, मार्केटिंग एवं प्रोसेसिंग का प्रबंधन करना होगा । इन समूहों में विशेष रूप से युवा शामिल होंगे। वनोपज प्रोसेसिंग केंद्र की स्थापना की जाएगी, जोकि प्रत्येक आदिवासी विकासखंड में बनाये जायेंगे। कुल मिलाकर 85 विकासखंड होंगे जहाँ पर ये केंद्र स्थापित होंगे। हर केंद्र के बनने में कम से कम 10 लाख रूपये का खर्च निर्धारित किया गया है। योजना के अंतर्गत मिलने वाले लाभ केवल राज्य के आदिवासी लोगों के लिए है।
योजना का नाम |
छत्तीसगढ़ इंदिरा वन मितान योजना |
योजना किनके द्वारा आरम्भ की गई | छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा |
लाभार्थी | छत्तीसगढ़ राज्य के वन में रहने वाले नागरिक |
योजना में पंजीकरण प्रक्रिया | ऑनलाइन या ऑफलाइन माध्यम द्वारा |
मुख्य उद्देश्य | वन में रहने वाले लोगों का विकास करना एवं उन्हें स्वरोजगार के अवसर प्रदान कर आत्मनिर्भर बनाना |
मुख्य लाभ | वन क्षेत्र में रहने वाले स्वावलंबी एवं आत्मनिर्भर बनेंगे |
योजना कब शुरू की गई | अंतर्राष्ट्रीय आदिवासी दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी द्वारा |
योजना श्रेणी | छत्तीसगढ़ सरकार योजनाएं |
आधिकारिक वेबसाइट | उपलब्ध नहीं |
छत्तीसगढ़ इंदिरा वन मितान योजना के लाभ –
- पहले छत्तीसगढ़ में केवल 7 प्रकार के वनोपज की खरीदी होती थी किन्तु अब इसे बढ़कर 31 कर दिया गया है।
- साथ ही वन समूहों के द्वारा बेचे जाने वाले वनोपज का सही मूल्य मिले ये सुनिश्चित किया जायेगा।
- साथ ही इमारती लकड़ी के स्थान पर फलदार एवं वनौषधियों वाले पौधों का रोपण किया जाएगा जिससे वनवासियों की आय में वृद्धि होगी।
- वन क्षेत्र में रहने वाले लोग रोजगार मिलने से स्वावलंबी एवं आत्मनिर्भर बनेंगे
अभी फिलहाल आवेदन बारे कोई भी जानकारी सरकार द्वारा नहीं दी गई है। आपसे अनुरोध है कि आवेदन से जुड़ी अपडेट प्राप्त करने के लिए हमारे साथ जुड़े रहे।