राज्य के कुपोषित बच्चों को कुपोषण के चक्र से निकाल कर कुपोषण की दर में कमी लाने के उद्देश्य से शुरू की गई थी।
इसके अंतर्गत ऐसे बच्चों के लिए हेल्थ चेकअप, डॉक्टरी परामर्श (मुख्यत: बाल रोग विशेषज्ञों की परामर्श की सुविधा) तथा दवाईयाँ आदि सब फ्री में उपलब्ध कराया जायेगा।
निजी शिशु रोग विशेषज्ञ की सेवा पर सम्मान स्वरूप 1000/- रूपये का मानदेय एवं 500/-रुपये तक यात्रा व्यय का प्रावधान भी किया गया है।
प्रत्येक विकासखंड में माह में 2 दिवस संदर्भ दिवस के रूप में चिन्हांकित करने का प्रयास किया गया है।